रख हौसला!
आसमां में एक दिन तेरा उड़ान होगा,
अपनी शख्सियत से तू शहंशाह–ए–हिंदुस्तान होगा,
रख हौसला! तेरी कदमों में जहान होगा,
रखा हौंसला।
एक कांटे के गड़ने से,
जैसे फूलों की कोमलता नहीं जाती,
घोंसलों को देखकर,
बाज़ दरारें नहीं भुलातीं,
रातों को दूर करने
सूरज सवेरा लेकर आता है,
छोटी सी जिंदगी को रौशन कर,
ओस भी एक दिन सूख जाता है,
रख हौसला!
सब्र के आइने में,
तेरा प्रतिबिंब सबसे महान होगा,
अपनी शख्सियत से तू शहंशाह–ए–हिंदुस्तान होगा,
रख हौसला! तेरी कदमों में जहान होगा,
रख हौंसला।
    
🌿 Written by 
Rishabh Bhatt 🌿
    
✒️ Poet in Hindi | English | Urdu 
      💼 Engineer by profession, Author by passion