तुम्हारे सारे ग़म को अपनी खुशी से बदलतें,
जैसे भी होते मंज़र हम हंसते हुए ही चलते,
तुम्हारी होठों में बारिश की हम बूंदें बहार भरते,
हर प्यार करने वालों से जादा हम तुमसे प्यार करते।
तुम्हारे चेहरे में चंदा की रौनक उतार लाते,
नज़्मों से जादा हम तुझको वो यारा गाते,
तुम्हारी चाहत से जादा तुम्हारा इकरार करते,
हर प्यार करने वालों से जादा हम तुमसे प्यार करते।
कहीं अकेलेपन में ग़र तुम अकेले पड़ते,
दुनिया की सारी महफ़िल से हम तुम्हारे लिए लड़ते,
तुम्हारी तारों में हम चंदा भी हजार करते,
हर प्यार करने वालों से जादा हम तुमसे प्यार करते।
तुम्हारी तारीफों में हर शायर को उतार लाते,
ग़र ज़रा रियायत मिलती ग़ालिब को भी यहां बुलाते,
सुनने को मेरी बातें शायद तुम इंतजार करते,
हर प्यार करने वालों से जादा हम तुमसे प्यार करते।
तुम्हारे नखरों को हम दिल की खुशी बनाते,
धड़कन को धीमा करके तुझको गले लगाते,
तुमको मनाने की हम कोशिश हजार करते,
हर प्यार करने वालों से जादा हम तुमसे प्यार करते।
तुम्हारी लम्हों में हम खुद को निसार करते,
जब-जब भी होती बारिश हम मौसम बहार करते,
तुम्हारी फलकों में हर चाहत को खुमार करते,
हर प्यार करने वालों से जादा हम तुमसे प्यार करते।
- Rishabh Bhatt